कानपुर देहात-महिला कानून बना मजाक,साजिस रच कर रेप के मामले में निर्दोष को भिजवा जेल

– देश में महिलाओ पर हो रहे रेप , छेड़छाड़ , उत्पीड़न जैसे अपराधों को रोकने के लिए सरकार ने कड़े कानून लाकर आरोपियों के खिलाफ कड़ी सजा का प्रावधान किया गया ,जिससे महिलाओं पर होने वाले अपराध कम हो सके लेकिन कुछ महिलाये इस कानून का फायदा उठाकर इसका दुरप्रयोग कर रही है रेप और छेड़छाड़ जैसे मामले में निर्दोष लोगो को जेल भेज रही है | कानपुर देहात के एक मामले ने महिला कानून के दुरपयोग की पोल खोल दी | जहा एक युवती ने छेड़छाड़ के बाद रेप और रेप के बाद निर्दोष को जेल भिजवाने का काम किया और अब पुलिस अधीक्षक को शपथ पत्र देकर निर्दोष व्यक्ति को जेल से छुड़ाने के लिये फरियाद कर रही है और अब किसी दुसरे व्यक्ति को आरोपी बता कर जेल भिजवाना चाहती है |

– महिला कानून को मजाक बनाने वाला मामला जनपद कानपुर देहात में देखने को मिला और मामले ने महिला कानून के दुरपयोग की पोल खोल कर रख दी |

……….दरसल पीड़ित युवती के मुताबिक घटना बीती 29 अप्रैल की है जब सोनी ( काल्पनिक नाम ) रिश्तेदारी में शादी में गयी थी वही अरुण अपने साथी के साथ मिलकर जबरन सोनी को दबोच लिया और उसे अपनी हवस का निवाला बना डाला एक तरफ डी जे की धुन पर लोग मदमस्त होकर नाच रहे थे तो दूसरी तरफ बेबस सोनी की अस्मत लूटी जा रही थी घटना के बाद पुलिस के सामने सोनी ( काल्पनिक नाम ) ने चीख चीख कर बताया की उसके साथ गैंग रेप हुआ है |

……….वही मंगलपुर पुलिस ने छेड़छाड़ का मुकदमा दर्ज कर जांच शुरू कर दी लेकिन छेड़छाड़ के मुकदमे के बाद पीड़ित परिवार का मन न भरा और पुलिस के अधिकारियों से मामले को रेप में तब्दील करने की गुहार लगाई जिस पर युवती की बात को सही मानकर अधिकारियो के आदेश पर गैंगरेप का मुकदमा दर्ज किया |

– रेप का मुकदमा लिखने के बाद में युवती ने न्यायालय और पुलिस के द्वारा लिए गए बयान में आरोपी अरुण के साथ उसी गाँव के ही रहने वाले अधेड़ उम्र के रामचंद्र को भी आरोपी बना डाला |

युवती के बयान के आधार पर पुलिस ने आरोपी अरुण और रामचंद्र दोनों लोगो ने छेड़खानी की और रेप का मामला दर्ज कर अधेड़ रामचंद्र को जेल भेज दिया,,,,,,निर्दोष रामचंद अब सलाखों के पीछे न्याय की इंतजार में बैठा है |

– लेकिन अचानक पीड़िता और उसकी माँ पुलिस अधीक्षक कार्यालय में पुलिस अधीक्षक से मिलने पहुंचे , पीड़िता और उसकी माँ की तरफ से एक एक शपथ पत्र पुलिस अधीक्षक को दिया गया , शपथ पत्र और युवती के मुताबिक युवती और उसकी माँ ने पुलिस अधीक्षक से गुहार लगाई कि छेड़छाड़ और रेप में जेल गया आरोपी रामचंद्र निर्दोष है उसको पुलिस ने गलत जेल भेज दिया है , आरोपी अरुण है उसने मेरे साथ रेप किया है | जब पीड़िता से सवाल किया गया कि पहले अपने बयान में रामचंद्र का नाम क्यों लिया था तो पीड़िता सकते में आगई और बताया कि मैंने ग्राम प्रधान के दबाव में आकर झूठ बोल दिया था ग्राम प्रधान ने रामचंद्र का नाम लेने को कहा था इसलिये हमने ऐसा किया । बदले में ग्राम प्रधान ने एक आवास देने को कहा था । लेकिन रामचंद्र निर्दोष है उसको जेल से रिहा कराया जाये | और आरोपी अरुण को अब जेल भेज दिया जाय |

बाइट – पीड़ित युवती

– वही पीड़िता के द्वारा बार बार बयान बदलने से पुलिस भी सकते में है फिलहाल पुलिस ने पीड़िता के पहले बयान के आधार पर रामचंद्र को जेल भेज दिया है अब पीड़िता द्वारा रामचंद्र को निर्दोष बताया जा रहा है पुलिस अधीक्षक राधेश्याम की माने तो पीड़िता के बयान और सपथ पत्र के आधार पर रामचंद्र को रिहा कराने के लिये कोर्ट को अवगत कराया जायेगा और पुरे मामले की गहनता से जांच की जा रही है |

बाइट – राधेश्याम (एसपी)

दरअसल पुर मामले में ग्राम प्रधान और गाँव के कोटेदार की आपसी विवाद में पीड़िता को इस्तेमाल किया गया | रामचंद्र गाँव का कोटेदार है जिसको लेकर दोनों में विवाद चल रहा था ,विवाद के चलते ग्राम प्रधान ने पीड़िता को आवास और रुपयों का लालच देकर रामचंद्र को फंसाया | वही युवती और युवती की माँ ने लालच में आकर गावं के कोटेदार रामचन्द्र के खिलाफ साजिस रच कर रेप के मामले में जेल भिजवा दिया,,,,,,,, ग्राम प्रधान और युवती ने महिला कानून का सहारा लेकर अपने अपने फायदे के लिए जरुर इस्तमाल किया लेकिन इस तरह के मामलो के चलते देश व क्षेत्र की अन्य महिलाओ की घटनाओ पर सवाल खड़े कर दिए | 

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