
उरई(जालौन)।जनपद में गौवंश संरक्षण और भरण-पोषण में नोडल अधिकारीओं के निरीक्षण में लापरवाही बरतने पर और रिपोर्ट न करने पर जिलाधिकारी राजेश कुमार पाण्डेय ने कलेक्ट्रेट सभागार में समीक्षा करते हुए बड़ी कार्यवाही करते हुए 13 अधिकारियों का वेतन अवरुद्ध, 5 को प्रतिकूल प्रविष्टि तथा 3 अधिकारियों से स्पष्टीकरण तलब किया है।
जिलाधिकारी ने कहा कि बरसात के मद्देनज़र गौशालाओं में हरे चारे, शुद्ध पेयजल एवं साफ-सफाई की समुचित व्यवस्था अनिवार्य है। यदि किसी स्तर पर लापरवाही या उदासीनता पाई जाती है, तो संबंधित अधिकारी व्यक्तिगत रूप से उत्तरदायी माने जाएंगे और उनके विरुद्ध कठोर अनुशासनात्मक कार्रवाई की जाएगी। उन्होंने कहा कि कोई भी गौवंश सड़कों पर न दिखे, और यदि कोई पशुपालक गौवंश पर दावा करता है, तो उससे जुर्माना वसूल कर चेतावनी दी जाए।
बताते चलें कि जनपद की 82 गौशालाओं में नोडल अधिकारियों की तैनाती की गई है, जो नियमित गौशालाओं की निरीक्षण करते हैं और रिपोर्टिंग करते हैं, नोडल अधिकारियों ने गौशालाओं के निरीक्षण में रुचि नहीं अपनाई गई। जिनकी मासिक समीक्षा जिलाधिकारी करते हैं, जबकि मुख्य विकास अधिकारी द्वारा साप्ताहिक एवं पाक्षिक समीक्षा के माध्यम से व्यवस्थाओं की निगरानी की जाती है। 13 अधिकारियों का वेतन अवरुद्ध अंजली अग्रवाल, अजय कुमार, रामवीर सिंह यादव, मोहन सिंह यादव, हेमंत कुमार नामदेव, नवीन तिवारी, साजिद खान, मधुवेश पाठक, हरपाल सिंह, पुष्कर दीक्षित, ह्रदयेश गौतम, सत्येन्द्र गंगवार, देवेंद्र सिंह निरंजन। 5 अधिकारियों को प्रतिकूल प्रविष्टि संदीप गुप्ता, विजय कुमार, रामवीर सिंह यादव, मोहन सिंह यादव, मधुवेश पाठक। 3 अधिकारियों से स्पष्टीकरण भरत प्रताप, पुष्कर दीक्षित, साजिद खान। 1 अधिकारी को कारण बताओ नोटिस देवेंद्र सिंह निरंजन।जिलाधिकारी ने सभी उप जिलाधिकारी एवं खंड विकास अधिकारियों को निर्देशित किया कि गौशालाओं की समय-समय पर औचक निरीक्षण करें तथा स्थानीय स्तर पर जिम्मेदारियों को और अधिक सक्रिय बनाएं ताकि गौवंश को किसी प्रकार की असुविधा न हो।
इस बैठक में मुख्य विकास अधिकारी के.के. सिंह, जिला विकास अधिकारी निशांत पाण्डेय, मुख्य पशु चिकित्सा अधिकारी डॉ. मनोज अवस्थी सहित सभी संबंधित अधिकारी उपस्थित रहे।
रिपोर्ट-अमित कुमार उरई जनपद जालौन उत्तर प्रदेश।